समकालीन जनमत

Month : January 2024

पुस्तक

फासीवादी निजाम के ख़िलाफ़ सच कहने का साहस

समकालीन जनमत
आलोक कुमार श्रीवास्तव   अमीरों के खान-पान संबंधी चोंचले बहुत हैं। काजू की रोटी उन्हीं चोंचलों में से एक है। निम्न और मध्यवर्गीय लोगों के...
ख़बर

नीतीश कुमार का भाजपा के साथ जाना  लोकतंत्र व सामाजिक न्याय के साथ भीषण विश्वासघात : दीपंकर भट्टाचार्य

समकालीन जनमत
पटना। भाकपा- माले महासचिव का. दीपंकर भट्टाचार्य ने कहा है कि यह तो सब जानते थे कि भाजपा बिहार में फिर से सत्ता पाने को बेताब थी....
साहित्य-संस्कृति

कविता युग की नब्ज धरो !

समकालीन जनमत
 उषा राय  ‘हजार साल पुराना है उनका गुस्सा हजार साल पुरानी है उनकी नफरत मैं तो सिर्फ उनके बिखरे हुए शब्दों को लय और तुक...
कविता

पम्मी राय की कविताएँ प्रतिबद्धता और दूरगामी यात्रा की संकेत हैं

समकालीन जनमत
निरंजन श्रोत्रिय युवा कवयित्री पम्मी राय की कविताओं में कुछ अनगढ़पन-सा पाठकों को लग सकता है। ऐसा इसलिए भी कि पम्मी ने अभी-अभी ही कविता...
शख्सियत

स्वप्न और उम्मीद के गीत

सियाराम शर्मा
नचिकेता की रचनात्मक दृष्टि का विकास सातवें-आठवें दशक के किसान संघर्षों की पृष्ठभूमि में हुआ। उस समय वैश्विक और राष्ट्रीय स्तर पर शासक वर्ग संकटग्रस्त...
साहित्य-संस्कृति

“ हमारे समय के सार्थक कवि हैं घनश्याम त्रिपाठी ”

समकालीन जनमत
भिलाई। जन संस्कृति मंच, दुर्ग-भिलाई के तत्वावधान में 21 जनवरी को भिलाई के कवि घनश्याम त्रिपाठी के द्वितीय काव्य संग्रह ‘ जो रास्ता संघर्षमय होता...
साहित्य-संस्कृति

राजीव प्रकाश साहिर की कहानी में दिखता है विकास का संवेदनहीन खौफनाक चेहरा

समकालीन जनमत
लखनऊ। जन संस्कृति मंच की ओर से ‘लेखक के घर चलो’ की श्रृंखला के तहत 18 जनवरी को उर्दू के अफसाना निगार राजीव प्रकाश साहिर...
साहित्य-संस्कृति

कवियों के कवि शमशेर की ऐलम में याद

संजय जोशी
कवि शमशेर बहादुर सिंह के 114 वें जन्मदिन पर पश्चिमी उत्तर प्रदेश के शामली जिले में स्थित एलम में नौजवान भारत सभा, जन संस्कृति मंच...
पुस्तक

पिकेटी का हालिया चिंतन और समाजवाद का सपना

गोपाल प्रधान
2021 में येल यूनिवर्सिटी प्रेस से थामस पिकेटी की फ़्रांसिसी में 2020 में छपी किताब का अंग्रेजी अनुवाद ‘टाइम फ़ार सोशलिज्म: डिसपैचेज फ़्राम ए वर्ल्ड...
जनमत

भारत में नागरिक समाज खतरे में

समकालीन जनमत
संविधान द्वारा गारंटीशुदा व्यवस्था के अन्तर्गत परिचालित स्वतंत्र नागरिक स्पेस ही लोकतंत्र का मूलतत्व है। भारत का यह सौभाग्य है कि यहाँ एक असाधारण रूप...
जनमत

लाल आंखों वाली सरकार और पड़ोसी देश

जयप्रकाश नारायण 
  हम भारतवासियों को 2014 में हुआ चुनाव अवश्य याद होगा। जब कॉर्पोरेट पूंजी के रथ पर सवार मोदी भारतीय राजनीति के क्षितिज पर धूमकेतु...
कविता

सीमा सिंह की कविताएँ समय की चमकदार जकड़बंदियों से टकराती हैं

शालिनी सिंह सीमा सिंह की कविताओं में प्रवेश के लिए आपको पूर्वाग्रह के समस्त पैरहन उतार कर आना होगा क्योंकि ये कविताएँ हमारे समय के...
स्मृति

पीढ़ियों तक याद किए जाएंगे चित्रकार राजकुमार सिंह

समकालीन जनमत
भूपेन्द्र कुमार अस्थाना   कहते हैं कि एक अच्छा कलाकार वही बन सकता है जो एक अच्छा इंसान बन कर जीता है, लोगों के दुख...
कविता

आशुतोष कुमार की कविताएँ समय के व्यर्थताबोध से आगे बढ़ने का हौसला हैं

समकालीन जनमत
चंद्रभूषण अयोध्या यह चिट्ठी पढ़े न पढ़े, आप तो पढ़ें .. आज जब अयोध्या में रामलला का मंदिर ‘वहीं’, ‘उसी जगह’, एक राष्ट्रव्यापी हंगामे से...
पुस्तक

पूंजीवाद की दुनिया और उसकी कार्यपद्धति

गोपाल प्रधान
2022 में वर्सो से विवेक छिब्बर की किताब ‘कनफ़्रंटिंग कैपिटलिज्म: हाउ द वर्ल्ड वर्क्स ऐंड हाउ टु चेंज इट’ का प्रकाशन हुआ । लेखक का...
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