समकालीन जनमत

Tag : पार्वती तिरके

कविता

पार्वती तिर्की की कविताएँ आदिवासी समाज और प्रकृति के साहचर्य, सातत्य और सौंदर्य की अभिव्यक्ति हैं

समकालीन जनमत
रोज़ी कामेई आदिवासी समुदायों की एक ख़ास विशेषता यह होती है कि वे इंसानों से पहले धरती, समस्त जीव-जगत, प्रकृति एवं सृष्टि के हर सजीव-निर्जीव...
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