समकालीन जनमत

Tag : मंजुला बिष्ट

कविता

सपना भट्ट की कविताएँ: निर्मम हक़ीक़त के मध्य जीवन की आर्द्रता बचाने की जद्दोजहद

समकालीन जनमत
मंजुला बिष्ट हमारा मौजूदा समय मानवीय संघर्ष के साथ अदृश्य स्वास्थ्य शत्रु की गिरगिटिया गिरफ्त में है। हमारे समक्ष सपनों व निर्मम हकीकत के मध्य...
कविता

स्त्री जीवन के यथार्थ को दर्शाती मंजुला बिष्ट की कविताएँ

समकालीन जनमत
सोनी पाण्डेय   मैं अक्सर सोचती हूँ कि पुरुषवादी समाज में हमेशा से औरतों का आंकलन ऐसा क्यों रहा कि वह कहने को विद्या की...
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