खगड़िया, दरभंगा, आरा, मुजफ्फरपुर सहित कई स्थानों पर माले व दलित संगठन के कार्यकर्ताओं पर जानलेवा हमला.
पटना 2 अप्रैल। एससी-एसटी (अत्याचार निरोधक) कानून को संशोधित कर कमजोर करने की कोशिशों के खिलाफ आज दलित संगठनों के भारत बंद के समर्थन में पटना में भाकपा-माले विधायक महबूब आलम, सत्यदेव राम व सुदामा प्रसाद के नेतृत्व में माले कार्यकर्ता सड़क पर उतरे और कानून में संशोधन के प्रस्ताव को वापस लेने की आवाज उठाई. कारगिल चौक पर प्रतिरोध सभा का आयोजन किया गया.
सभा को संबोधित करते हुए माले विधायकों ने कहा कि एससी-एसटी (अत्याचार निरोधक) कानून को संशोधित करने की किसी भी प्रकार की कोशिश की हमारी पार्टी पुरजोर विरोध करती है. हाल के दिनों में दलितों पर दमन-अत्याचार की घटनाओं में इजाफा हुआ है, लेकिन सरकार दलित उत्पीड़न की घटनाओं पर रोक लगाने की बजाए दलित अत्याचार निरोधक कानून को ही कमजोर करने में लगी हुई है. इसका हम पुरजोर विरोध करते हैं और इस संशोधन को अविलंब वापस लेने की मांग करते हैं. इस प्रकरण ने यह भी स्पष्ट कर दिया है कि भाजपा पूरी तरह दलित विरोधी है. इसके पूर्व विधानसभा में भी माले विधायकों ने एससी-एसटी कानून में संशोधन वापस लेने की मांग पर विधानसभा में प्रदर्शन किया और विधानसभा की कार्रवाई स्थगित करने की मांग की. उनकी मांग पर विधानसभा की कार्रवाई आज स्थगित कर दी गई.
पटना के कार्यक्रम में उक्त नेताओं के अलावा पार्टी की राज्य कमिटी की सदस्य समता राय, पन्नालाल सिंह, अनुराधा देवी, डा. प्रकाश, आइसा नेता निशांत सहित कई लोग शामिल थे. उधर आइसा के बिहार राज्य अध्यक्ष मोख्तार के नेतृत्व में आइसा कार्यकर्ताओं ने एससी-एसटी कानून में संशोधन के खिलाफ अशोक राज पथ को कई जगहों पर जाम किया तथा डाकबंगला चौराहे तक मार्च किया. मार्च में दर्जनों छात्र शामिल थे.
बंद के दौरान माले व दलित कार्यकर्ताओं पर भाजपा-आरएसएस-बजरंग दल का हमला : बंद के दौरान माले व दलित संगठन के कार्यकर्ताओं को जगह-जगह पर भाजपा, आरएसएस व बजरंग दल के हमले का शिकार होना पड़ा. खगड़िया में माले जिला सचिव अरूण कुमार दास पर भाजपा के लोगों ने बर्बरता से हमला कर उन्हें बुरी तरह घायल कर दिया. उनके माथे में 8 टांकें पड़े हैं.
वहीं दरभंगा के जोगियारा स्टेशन पर एबीवीपी के गुंडों ने माले व दलित कार्यकर्ताओं पर सभा करते वक्त हमला कर दिया. इस हमले में माले समर्थक मनोज बैठा बुरी तरह घायल हो गए. फिलहाल डीएमसीएच में उनका इलाज चल रहा है.
वैशाली में जुलूस के उपरांत जब बंद समर्थक राजेन्द्र चौक पर सभा को संबोधित कर रहे थे, तो नीतीश कुमार की पुलिस की उपस्थिति में बजरंग दल व हिंदु पुत्र जैसे साम्प्रदायिक संगठनों के लोगों ने लाठी से सभा पर हमला कर दिया. हमले का संगठित प्रतिरोध किया गया और हमलावरों को भगा दिया गया. कुछ देर बाद फिर से उत्पातियों ने सभा पर हमला करने की कोशिश की, जिसका मुंहतोड़ जवाब दिया गया. आरा में भी बंद समर्थकों पर भाजपा के लोगों ने हमला किया. मुजफ्फरपुर में भी बंद समर्थकों पर हमला किया गया.
बंद के दौरान कई जगहों पर ट्रेन जाम : भारत बंद के दौरान आज दरभंगा, आरा, जहानाबाद, मधुबनी, बेतिया आदि जगहों पर कई ट्रेनों का परिचालन पूरी तरह ठप्प कर दिया गया. जिसकी वजह से इन रेलवे ट्रैकों पर रेलवे का परिचालन घंटों ठप रहा.
राष्ट्रीय उच्च पथ-राजकीय उच्च पथ पर भी यातायात बाधित
बंद के दौरान माले कार्यकर्ताओं ने राज्य के विभिन्न हिस्सों में राष्ट्रीय व राज्य पथों पर भी परिचालन ठप्प कर दिया. बेगूसराय में एनएच 31 पर घंटो परिचालन बाधित किया. मुजफ्फरपुर के बोचहां में एनएच 57 को अहियापुर चौक पर जाम किया गया और शहर में प्रतिवाद मार्च का आयोजन किया. दरभंगा में एनएच 57 को मब्बी में भी जाम किया गया. जहानाबाद में पटना-गया उच्च पथ, भोजपुर के जगदीशपुर एनएच 30, पटना-औरंगाबाद रोड को अरवल में, मधुबनी के रहिका में एनएच 105 आदि जगहों पर बंद के समर्थन में माले व दलित संगठनों ने मिलकर सड़क जाम किया.
पूर्वी चंपारण में एनएच 28 को छतौनी मोड़ के पास जाम किया गया. दरभंगा के कर्पूरी चौक, बिरौल, आरा-बक्सर उच्च पथ को बीबीगंज आदि जगहों पर सड़क जाम किये गए.
रोड जाम के अलावा सिवान शहर व जिल के अन्य प्रखंडों, पश्चिमी चंपारण के बेतिया, नरकटियागंज, सिकटा, बगहा; पटना जिले के फुलवारी, धनरूआ, फतुहा, बिहटा, नौबतपुर, मसौढ़ी, पटना सिटी; समस्तीपुर, मधेपुरा, के कई इलाकों में प्रतिरोध मार्च निकाले गए.