35.6 C
New Delhi
April 30, 2025
समकालीन जनमत

Tag : गज़लें

कविताजनमत

समय के छद्म को उसकी बहुस्‍तरियता में उद्घाटित करतीं कल्पना मनोरमा

समकालीन जनमत
कुमार मुकुल लालसा सन्यास के पद गुनगुनाये चाटुकारी जब रचे उपसर्ग प्रत्यय तुष्ट होकर अहम सजधज मुस्कुराये। वर्तमान समय की राजनीतिक उलटबांसी और उससे पैदा...
Fearlessly expressing peoples opinion