संदीप पाण्डेय, प्रसिद्ध सामाजिक कार्यकर्ता
अहमदाबाद के गाँधी आश्रम से निकली “भारत पाकिस्तान मैत्री एवं शांति यात्रा” सोमवार तक 170 किलोमीटर चल कर रात्रि का पड़ाव बनास कांठा के थरा में किया. मंगल की प्रातः लगभग 15 किलोमीटर चलने के बाद पद्यात्री देव दरबार जागीर मठ आश्रम पहुंचे जहाँ पद्यात्रियों का भव्य स्वागत किया गया.
स्वागत समारोह के बाद सभी यात्रियों की मुलाक़ात श्री ओगड महंत श्री 1008 बणदेवनाथजी गुरु वसंतनाथजी महाराज से हुई. इनका आश्रम पाकिस्तान सरहद से करीब 80 किलोमीटर पहले बनासकांठा जिले के देवदरबार जागीर मठ में है. महाराज ने बताया सरहद के उस पार हैदराबाद प्रान्त में स्लेमकर रेमिटी जिला है जहाँ करीब 500 माधवाणी हिन्दू परिवार रहते है , जो इनके शिष्य है. पिछले वर्ष उन लोगों ने पाकिस्तान में इनका 5 दिन का सत्संग प्रवचन कराया, जिसमें हिन्दू और मुसलमान दोनों सम्प्रदाय के लोग शामिल हुए थे.
पहले बहुत से शिष्य पाकिस्तान से भारत इनके आश्रम आते थे, लेकिन दोनों देशों में आयी कटुता व तनाव के कारण लोगों का आना जाना बहुत कम हो गया, जिसके कारण उन्हें पिछले वर्ष पाकिस्तान जाना पड़ा. इतना ही नही उन्होंने पाकिस्तान में अपने शिष्यों के लिये एक भव्य मंदिर निर्माण भी करवाया और अब वहाँ पाकिस्तान के सलेमपुर में लोगों की सेवा के लिए ‘ हे नाथ ‘ नाम का एक भव्य अस्पताल बनवा रहे है. उनका एक शिष्य घनश्याम पाकिस्तान में एमएलए है.
बणदेवनाथ जी का कहना था कि आमतौर पर दोनों मुल्क के लोग बहुत प्रेमी है बस बहुत कम लोग है जो हमलोगों के बीच नफरत फैलाने का काम करते है, अगर दोनों मुल्क में आपसी प्रेम भाईचारा और सौहार्द बनता है तो इससे दोनों देश बहुत तरक्की करेंगे और खुशहाल रहेंगे. उन्होंने सभी पदयात्रियों को नेक काम की शुभकामना दी.
लोटाणा गाँव में सदाराम बापू मिले तो वह भी बहुत प्रसन्न हुए कि इस प्रकार की यात्रा है जो दो देश के दिलों को जोड़ने के लिए निकली है. वह हिन्दू धर्म के धर्म गुरु हैं लेकिन सेक्युलर होने के कारण इन्हें मुख्यधारा की मीडिया में जगह नहीं मिल पाती है.
उत्तर गुजरात जो पाकिस्तानी सरहद से लगा हुआ है यहाँ आने के बाद हमें पता चला कि इन इलाकों में संप्रदयिकता का ज़हर नहीं है. कौमी सौहार्द बनाने में इन लोगों की बड़ी भूमिका है. बणदेवनाथजी , सदाराम बापू जैसे बहुत से लोग हैं जो चाहते हैं सुईगाम से नगर पार्कर का रास्ता खोला जाये बस से आने जाने की सुविधा हो ऐसे धर्मगुरु ट्रैक टू डिप्लोमेसी का कार्य कर सकते हैं.
हमने बणदेवनाथजी से पूछा कि पाकिस्तान में हिन्दुओं के साथ बहुत अत्याचार होता है, उनका जबरन धर्म परिवर्तन कराया जाता है और भारत के कुछ मीडिया संस्थानों का दावा है वहां मन्दिर बनाने की अनुमति नहीं है. हमारे प्रश्न के उत्तर में बणदेवनाथजी ने बताया मैं अक्तूबर 2017 में एक महिना पाकिस्तान रह कर आया हूँ. मेरे अनुयायी भले ही एक विशेष समाज के हों लेकिन वहां के मुसलमान भी मेरा इतना ही आदर से करते हैं मैं वहां ‘हे नाथ’ नाम से एक अस्पताल भी बनवा रहा हूँ. किसी प्रकार से कोई जबरन धर्म परिवर्तन नहीं कराया जाता है. मन्दिर बनाने के लिए केवल ज़मीन होनी चाहिए. सरकार से अनुमति की भी आवश्यकता नहीं है. सिंध में तो आज भी हिन्दू रियासत (उमर कोट) है.
आप को बता दें पाकिस्तान को लेकर भारत में कई प्रकार के भ्रम हैं भारत में महिला सशक्तिकरण को लेकर बातें बहुत होती हैं लेकिन संसद में उनके लिए कोई आरक्षण नहीं है जबकि पाकिस्तान में महिलाओं के लिए नेशनल असेंबली में 60 सीटें आरक्षित हैं भारत में धर्म आधारित आरक्षण गैर संवैधानिक है लेकिन पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों के हितों को देखते हुए 10 सीटें आरक्षित की गई हैं.