समकालीन जनमत

Tag : रंजना मिश्र

कविता

डोरियन लाउ की कविताएँ मानवता के अंतर्विरोधों को रेखांकित करती हैं

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रंजना मिश्र 10 जनवरी, 1952 को जन्मी डोरियन लाउ/ लॉक्स के अब तक छह कविता संग्रह प्रकाशित हैं।  वे यूनिवर्सिटी ऑफ़ ऑर्गोन में रचनात्मक लेखन...
कविता

वसु गन्धर्व की कविताएँ मन्द्र उपस्थिति के मुखर स्वर हैं

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रंजना मिश्र कुछ स्वर अपनी मन्द्र उपस्थिति में अधिक सुन्दर, अधिक मुखर होते हैं। वे कोमल, गझिन और एकान्तिक होते हुए भी अपनी ज़मीन पर...
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राग रंजन की कविताएँ सूक्ष्म अंतर्दृष्टि और ज़मीनी यथार्थ के ताने बाने की निर्मिति हैं

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रंजना मिश्र बकौल राग रंजन वे ‘साहित्यकारों के मोहल्ले के ऐसे बच्चे हैं जो कभी कभी किसी दरवाज़े की घंटी बजाकर भाग जाते हैं.’ मेरा...
कविता

रंजना मिश्र की कविताओं में जीवन उदासी के साये में खड़ा हुआ भी जिजीविषा से भरा रहता है।

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प्रतिमा त्रिपाठी भाषाई उठापटक, शब्दों के खेल और अर्थों के रचे हुये मायावी संसार से बोझिल होती हुई कविताओं के इस समय में रंजना मिश्रा...
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एकांत और संवेदना की नमी में आकंठ डूबा कवि प्रभात मिलिंद

समकालीन जनमत
रंजना मिश्र प्रभात मिलिंद की कविताओं से गुज़रना संवेदनशील आधुनिक मानव मन की निरी एकांत यात्रा तो है ही साथ ही परिवार समाज और देश...
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